देहरादून/मिशन न्याय
कोरोना महामारी के कारण अधर में लटके राजकीय शिक्षक संघ के चुनाव एक बार फिर होने जा रहे हैं। जनपद के शिक्षकों के बीच चुनाव को लेकर गहमागहमी शुरू हो गई है। चकराता विकासखंड से लेकर कालसी, विकासनगर, सहसपुर, रायपुर और डोईवाला के समस्त शिक्षक शिक्षिकाएं मतदान में भागीदारी करेंगी।
इस मर्तबा संघ के जिला मंत्री पद पर राकेश काला ने अपनी टीम के साथ उपाध्यक्ष पद के लिए नागेंद्र जुयाल और संयुक्त मंत्री महिला पद के लिए हेमा कांडपाल ने दावेदारी की है।
सोमवार को उत्तरांचल प्रेस क्लब के सभागार में पत्रकारों से बातचीत में शिक्षक नेता राकेश काला ने कहा कि उन्हें संघ के अत्यधिक शिक्षक साथियों का समर्थन प्राप्त है। वह अपने जिला मंत्री पद पर चुनाव जीते तो सभी के साथ मिलकर काम करेंगे।
एक सवाल के जवाब में उन्होंने शिक्षकों एवं छात्र छात्राओं के हित में 23 सूत्रीय प्राथमिकताएं भी गिनाईं। उन्होंने विद्यालयों में घटती छात्र संख्या के विषय पर चिंता जताई और कहा कि सभी शिक्षकों को साथ लेकर इस दिशा में काम करेंगे। क्योंकि छात्रों की संख्या विद्यालयों में होगी, तभी शिक्षकों का भी अस्तित्व बना रहेगा।
उन्होंने कहा कि जिले के कई विद्यालयों की स्थिति ऐसी है कि वहां पर भौतिक संसाधनों की कमी है यहां तक कि शैक्षिक सामग्री किताबें आदि रखने की आलमारी भी नहीं है। इनकी कमी को दूर करने के लिए पुरजोर प्रयास करेंगे।
इसी तरह चिकित्सा अवकाश में किसी भी शिक्षक का वेतन ना रोका जाए इसके लिए स्पष्ट निर्देश तैयार कराए जाएंगे। पित्र कार्य हेतु प्रत्येक शिक्षक शिक्षिका को 15 दिन का अवकाश स्वीकृत कराने का प्रयास होगा। पुरानी पेंशन बहाली की भी पैरवी की जाएगी।
पत्रकारों के सवालों के जवाब में राजकीय शिक्षक संघ के जिला उपाध्यक्ष पद के प्रत्याशी नागेंद्र जुयाल ने कहा कि उन्होंने उत्तराखंड आंदोलन की लंबी लड़ाई लड़ी है। उन्होंने पुलिस की गोली भी खाई है। वह अपने साथी शिक्षकों की हर जायज मांगों पर लड़ाई लड़ने को हमेशा तैयार हैं।
उन्होंने कहा कि चाहे कोई पुरानी मांग हो या छात्र छात्राओं के हित में विद्यालयों को सुधार की दिशा में लाने के लिए कदम हो वह सभी शिक्षकों के साथ एकजुटता से आगे बढ़ेंगे। जुयाल ने कहा कि वह पहले भी राजकीय शिक्षक संघ की कार्यकारिणी में रहे हैं।
उन्हें भली भांति इस बात का पता है कि शिक्षकों की मूल समस्याएं क्या है और छात्र हितों में क्या निर्णय किए जाने चाहिएं। उन्होंने कहा कि कोरोना के कारण बीच के कई साल चुनाव नहीं हो पाए। लेकिन अब उन्हें मौका मिला तो वह अपने शिक्षक साथियों के साथ मिलकर सभी समस्याओं के समाधान के लिए लड़ाई लड़ेंगे।
संयुक्त मंत्री महिला पद की प्रत्याशी हेमा कांडपाल ने छात्र-छात्राओं के हित में खूब काम करने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि वह अभी भी अपने शिक्षक भाई-बहनों के साथ मिलकर बच्चों को अंग्रेजी और हिंदी माध्यम से पढ़ा रही हैं।
एक प्रश्न के जवाब में उन्होंने कहा कि जिस तरह से उन्हें छात्रों की सुविधाओं और उनकी पढ़ाई का ध्यान है। उसी तरह शिक्षक साथियों की समस्याओं के बारे में भी उन्हें जानकारी है। वह अपने पद पर चुनाव जीतीं तो सभी महिला शिक्षकों एवं अन्य शिक्षकों के साथ मिलकर योजनाबद्ध तरीके से मिलजुल कर काम करेंगे। इस अवसर पर प्रेस वार्ता में शिक्षक आरपी बेलवाल, जेपी नौटियाल उपस्थित रहे।